एशिया कप में भारत ने पाकिस्तान पर दर्ज की बड़ी जीत, हार्दिक पाण्डया बने “मैंन ऑफ द मैच”

ड़े दबाव वाले मुकाबले में जीत दर्ज करना कभी आसान नहीं होता. जो ऐसे मुकाबलों में अपनी योजनाओं को सही से इस्तेमाल करता है और अपने जज्बातों को काबू में रखता है, अक्सर वही सफलता की सीढ़ी चढ़ता है.

ये बातें भारत-पाकिस्तान के मैच के नतीजे और इस नतीजे को हासिल करने में हार्दिक पंड्या की भूमिका पर सटीक बैठती हैं. एशिया कप 2022 में टीम इंडिया को पहले ही मुकाबले में अपने सबसे कट्टर प्रतिद्वंद्वी पर रोमांचक जीत मिली और इसमें हार्दिक ने एक विशुद्ध ऑलराउंडर वाला प्रदर्शन कर निर्णायक भूमिका निभाई.

पहले गेंद, फिर बल्ले से चमके

पिछले टी 20 विश्व कप में हार्दिक पंड्या टीम का हिस्सा थे, लेकिन जैसी फिटनेस तब थी, उसकी कमी भारत को खली. अब हार्दिक पंड्या पूरी तरह फिट हैं और उसका असर उनके निजी प्रदर्शन के साथ ही टीम पर भी दिख रहा है. हार्दिक ने पाकिस्तान के खिलाफ रविवार के मुकाबले में पहले गेंद से कमाल दिखाया और 4 ओवरों में सिर्फ 25 रन देकर 3 विकेट हासिल किए. फिर मुश्किल स्थिति में आकर सिर्फ 17 गेंदों में नाबाद 33 रन कूटे. आखिरी ओवर में हार्दिक ने छक्का जमाकर भारत को जीत दिलाई.

ताकत का इस्तेमाल, समझ के साथ

हार्दिक की फिटनेस का सबसे बड़ा सकारात्मक पहलू उनकी गेंदबाजी रही है, जिसकी कमी भारत को सबसे ज्यादा खली थी. हार्दिक अब इसकी भरपाई कर रहे हैं और इसका फायदा भारत को मिला. हार्दिक ने न सिर्फ रफ्तार बढ़ाई है, बल्कि अपनी पसंदीदा शॉर्ट गेंदों को और ज्यादा मारक बनाया है. इन्हीं शॉर्ट गेंदों से हार्दिक को 3 विकेट मिले. प्लेयर ऑफ द मैच चुने जाने के बाद हार्दिक ने इस बारे में कहा,

गेंदबाजी में परिस्थितियों को समझना और उसके अनुसार अपने हथियारों का इस्तेमाल जरूरी है. मेरी ताकत है शॉर्ट और हार्ड लेंग्थ पर गेंदबाजी करना. कैसे इनका इस्तेमाल हो और बल्लेबाजों से सही सवाल पूछकर उन्हें गलती के लिए मजबूर किया जाए, ये अहम है.

दबाव मुझ पर नहीं, गेंदबाज पर

हार्दिक जब क्रीज पर आए थे, तो 14.2 ओवरों में भारत का स्कोर 4 विकेट पर 89 रन ही था. भारत को 34 गेंदों में 59 रनों की जरूरत थी. हार्दिक ने इसके बाद सब्र से खेलते हुए रवींद्रे जडेजा के साथ 52 रनों की साझेदारी की. हार्दिक ने 19वें ओवर में तीन चौके जमाकर भारत की जीत सुनिश्चित की और फिर विजयी छक्का जमाया. हार्दिक ने कहा कि अगर आखिरी ओवर में 15 रन भी चाहिए होते, तो वह इसे हासिल करने के लिए आश्वस्त थे. उन्होंने कहा, आखिरी ओवर में हमें सिर्फ 7 रनों की जरूरत थी, लेकिन अगर 15 भी चाहिए होते, तो भी मुझे यकीन रहता. मुझे पता है कि 20वें ओवर में गेंदबाज पर मुझसे ज्यादा दबाव होगा.