17 वर्षीय शोएब अंसारी की हत्या के आरोप में गुलाम रब्बानी नामक मौलाना को पुलिस ने किया गिरफ्तार ।

17 वर्षीय शोएब अंसारी की हत्या के आरोप में गुलाम रब्बानी नामक मौलाना को पुलिस ने किया गिरफ्तार ।

प्रमोद कुमार

भिवंडी : भिवंडी शहर में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जिसने समुदाय को स्तब्ध कर दिया है। पुलिस ने साढ़े चार साल पहले लापता हुए 17 वर्षीय शोएब अंसारी की हत्या के आरोप में गुलाम रब्बानी नामक एक स्थानीय मौलाना को गिरफ्तार किया है। पुलिस जांच में न केवल हत्या बल्कि एक नाबालिग लड़की के साथ दुराचार का भी खुलासा हुआ है। 20 नवंबर, 2020 को नवीबस्ती, भिवंडी का रहने वाला शोएब अचानक लापता हो गया था। चिंतित परिवार ने तुरंत स्थानीय पुलिस स्टेशन में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। शुरुआती जांच में कोई ठोस सुराग नहीं मिला और मामला ठंडे बस्ते में चला गया, जिससे शोएब के परिवार को गहरा दुख और अनिश्चितता का सामना करना पड़ा। वर्ष 2023 में, गुमशुदगी के लगभग तीन साल बाद, पुलिस को एक महत्वपूर्ण जानकारी मिली। एक स्थानीय व्यक्ति ने पुलिस को बताया कि शोएब की गुमशुदगी और संभावित हत्या में मौलाना गुलाम रब्बानी की संदिग्ध भूमिका हो सकती है। इस नई सूचना के आधार पर, पुलिस ने एक बार फिर शोएब के परिवार से संपर्क किया और मामले की दोबारा जांच शुरू की। मौलाना रब्बानी को पूछताछ के लिए बुलाया गया, लेकिन वह पुलिस को चकमा देकर फरार हो गया और राज्य से बाहर जाकर छिप गया। पुलिस ने मौलाना रब्बानी को पकड़ने के लिए लगातार प्रयास किए। लगभग डेढ़ साल की अथक खोज के बाद, पुलिस अंततः उसे गिरफ्तार करने में सफल रही। पुलिस का मानना है कि मौलाना ने शोएब की हत्या इसलिए की क्योंकि शोएब ने उसे एक अन्य नाबालिग लड़की के साथ आपत्तिजनक स्थिति में देख लिया था। मौलाना को डर था कि शोएब इस घटना का खुलासा कर देगा, जिससे उसकी सामाजिक प्रतिष्ठा और धार्मिक पहचान खतरे में पड़ जाएगी। पुलिस के अनुसार, मौलाना रब्बानी ने शोएब को अपनी दुकान में बुलाया। वहां, उसने बेरहमी से शोएब की हत्या कर दी और फिर उसके शव को दुकान के भीतर ही दफना दिया, ताकि किसी को उसकी करतूत का पता न चले। मौलाना की गिरफ्तारी के बाद, पुलिस ने उसकी दुकान की तलाशी ली और वहां से शोएब के मानव अवशेष बरामद किए। इन अवशेषों को आगे की फॉरेंसिक जांच के लिए प्रयोगशाला भेजा गया है, ताकि उनकी पहचान और हत्या के तरीके की पुष्टि की जा सके। पुलिस का कहना है कि पूछताछ के दौरान मौलाना ने अपना अपराध कबूल कर लिया है। पुलिस इस जघन्य अपराध के लिए एक मजबूत चार्जशीट दाखिल करने की प्रक्रिया में है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि दोषी को कड़ी सजा मिले और भविष्य में कोई ऐसा अपराध करने की हिम्मत न करे। इस पूरे मामले का सबसे दुखद पहलू यह है कि मौलाना रब्बानी ने शोएब की हत्या करने के बाद भी उसके परिवार के साथ संपर्क बनाए रखा। वह उनके धार्मिक आयोजनों में शामिल होता रहा, नमाज पढ़वाता रहा और विशेष प्रार्थनाओं के लिए उनसे पैसे भी लेता रहा। इस तरह, वह परिवार के सामने खुद को निर्दोष और सहानुभूति रखने वाला व्यक्ति दिखाता रहा, जबकि उसने उनके बेटे की जान ले ली थी। उसका यह धोखे का नाटक परिवार के लिए एक गहरा आघात था। यह घटना न केवल एक युवा लड़के की दुखद मौत की कहानी है, बल्कि एक ऐसे व्यक्ति के विश्वासघात और आपराधिक मानसिकता को भी उजागर करती है जिसने अपने धार्मिक पद का दुरुपयोग किया। पुलिस अब यह सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है कि इस मामले में न्याय हो और पीड़ित परिवार को शांति मिले ।